
रायगढ़ – रायगढ़ में कोरोना संक्रमण के दिन-प्रतिदिन बढ़ते नए मामलों के बाद जहाँ एक ओर जिला प्रशासन अलर्ट मोड में आते हुए तमाम जरूरी एहतियात एवं कोविड प्रोटोकॉल का पालन करने की लोगों से अपील कर रहा है और कोरोना को लेकर नई गाइडलाइन्स भी जारी की हैं ताकि जिले में कोरोना के बढ़ते मामलों में यथासंभव रोक लगाई जा सकें। तो वहीं दूसरी ओर जिले में संचालित हो रहें ज़्यादातर औद्योगिक इकाइयों में कोविड प्रोटोकॉल का खुलेआम से उल्लघंन देखा जा रहा है।
जिलें में संचालित हो रहें ज़्यादातर औद्योगिक इकाइयों में न तो मास्क पहनने की अनिवार्यता सुनिश्चित की गई हैं और न ही 2 गज की दूरी की अनिवार्यता के नियमों का पालन हो रहा है बल्कि कुछेक औद्योगिक इकाई तो ऐसे भी हैं जहाँ सेनिटाइजर का भी उपयोग नहीं किया जा रहा है। सभी नियमों की अनदेखी करते हुए बसों में कर्मचारियों को भर-भर के काम करने उद्योग परिसर ले जाया जा रहा है। ज़्यादातर उद्योगों में से अधिक लोगो से काम करवाया जा रहा है। तो कुछ उद्योगों में कार्यरत कर्मचारियों ने नाम उजागर न करने की शर्त पर बताया कि हमारे संस्थान में तो कर्मचारियों को क्वारेंटिंन करने की व्यवस्था भी नहीं है। उद्योग प्रबंधन के अधिक मुनाफा कमाने की लालच एवं उत्पादन का स्तर बराबर बनाये रखने के दबाव में कोविड प्रोटोकॉल के नियमों को ताक में रख कर कर्मचारियों से काम करवाया जा रहा है। कर्मचारियों नौकरी से निकाल दिये जाने के डर से इसका विरोध भी नहीं कर पा रहे है।
वर्तमान परिस्थितियों में देखा जाए तो बीतें एक पखवाड़े में जिले में कोरोना के जो नये मामलें सामने आ रहें हैं उसमें से करीबन 30% मामलें उद्योगों से ही जुड़े हुए हैं। उसे देखते हुए यह कहना गलत नहीं होगा कि इस तरह की लापरवाही से निकट भविष्य कोरोना संक्रमण बढ़ने की संभावना से इंकार नहीं किया जा सकता और भविष्य में इसके विस्फोटक रूप लेने की संभावना भी और बलवती हो रही हैं। ऐसे में जिला प्रशासन को चाहिए कि वो इस दिशा में कड़े कदम उठाते हुए कार्यवही करे और उद्योगों को सख्ती से समझाइश देते हुए आवश्यक निर्देशों का पालन करवाये, ताकि जिले में कोरोना के संक्रमण को रोका जा सके।
खबर – स्थानीय संवाददाता